आर्य कन्या गुरुकुल, पोरबंदर की छात्राओं का श्री रामकृष्ण ट्रस्ट में 6 दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम
गुजरात के पोरबंदर जिले में स्थित आर्य कन्या गुरुकुल का मुख्य उद्देश्य है – प्राकृतिक वातावरण में कन्याओं को शिक्षित करना, संस्कारों का सिंचन करना और कन्याओं में ऐसी कुशलता विकसित करना जिसके आधार पर वे अपने पैरों पर खड़ी हो सकें ।
इस उद्देश्य को प्राप्त करने की दिशा में बढ़ने तथा प्रकृति क्या है और वह सरल जीवन जीने में कैसे उपयोगी हो सकती है यह समझने के लिए गुरुकुल की 15 छात्राओं के लिए श्री रामकृष्ण ट्रस्ट, कुकमा (कुच्छ, गुजरात) में 19 से 24 अप्रैल 2024 तक 6 दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया था ।
19 तारीख की सुबह गुरुकुल की 15 छात्राओं व 2 शिक्षिकाओं (दिनाबेन भसाणी व जल्पा कुछेडिया) का दल श्री रामकृष्ण ट्रस्ट, कुकमा पहुंचा | ट्रस्ट परिवार की तरफ से शैलेंद्र सिंह जी ने हमारा स्वागत किया और इस संस्था का परिचय दिया तथा संस्था के उद्देश्यों से हमें अवगत करवाया । शैलेंद्र सिंह जी ने ‘संस्था-दर्शन’ के दौरान भोजनालय, गोबर क्राफ्ट विभाग, पंचगव्य विभाग, गौशाला, गोबर गैस प्लांट, प्राकृतिक खाद विभाग, स्वदेशी मॉल आदि से हमारा परिचय करवाया ।
19 तारीख को दोपहर में हमने दो टीम बनाई और गोबर क्राफ्ट विभाग तथा पंचगव्य विभाग में हमारा प्रशिक्षण प्रारंभ हुआ ।
गोबर क्राफ्ट विभाग
छात्राओं की पहली टीम ने वहां सबसे पहले गोबर व कुछ अन्य सामग्रियों को आटे की तरह गुंथना सीखा । इस मिश्रण से हमने पूजा की थाली, गणेश जी की मूर्ति, बाजोट, गमला, गुल्लक, तोरण, घड़ी, आदि बनाना सिखा । यह सब हमें धर्मेश भाई और उनकी पूरी टीम ने बहुत अच्छे से सिखाया।
पंचगव्य विभाग
छात्राओं की दूसरी टीम ने पंचगव्य विभाग में 6 दिन का प्रशिक्षण प्राप्त किया जिसमें धूप- स्टिक, मोबाइल रेडिएशन चिप, साबुन, मालिश तेल, नीम का अर्क, गोमूत्र अर्क, फेस पैक, दंत मंजन, गोबर रस, हिंगाष्टकचूर्ण, फिनाइल, गोबर के उपले, होली के रंग आदि बनाना सिखा । इस विभाग के प्रमुख श्यामजी भाई ने बहुत अच्छे तरीके से बच्चियों को सब कुछ सिखाया तथा इनके प्रयोग के विषय में जानकारी दी |
प्रशिक्षण कार्यक्रम के अंतिम दिन छात्राओं को श्री रामकृष्ण ट्रस्ट की ओर से प्रमाण पत्र प्रदान किया गया।
इस कार्यक्रम के दौरान हमारा दल भुज स्थित साइंस सिटी व स्मृति वन भी गया जहाँ छात्राओं ने बहुत कुछ नया देखा व सिखा ।
अनुभव
प्रशिक्षण कार्यक्रम का यह 6 दिवस सीखने समझने में कैसे चला गया हमें पता ही नहीं चला । संस्था में हमारा बहुत ही सकारात्मक अनुभव रहा | इस दौरान संस्था के सभी सदस्यों का हमारे साथ बहुत अच्छा व्यवहार रहा | हमारे खाने पीने और रहने की संपूर्ण व्यवस्था बहुत अच्छी तरह से की गई थी। इसके लिए हम संस्था के सभी सदस्यों का दिल से आभार व्यक्त करते हैं | छात्राओं को प्रकृति की संपूर्ण व्यवस्था को समझाने के लिए संस्था के मैनेजिंग ट्रस्टी मनोज भाई सोलंकी जी का हम विशेष आभार व्यक्त करते हैं।
हमारा गुरुकुल व श्री रामकृष्ण ट्रस्ट एक दूसरे के साथ मिलजुल कर आगे भी ऐसे कार्यक्रमों का आयोजन करे और समाज उपयोगी प्रवृत्ति करते रहे ऐसी शुभकामना के साथ धन्यवाद ।
(प्रशिक्षण के लिए आये दल के अनुभव पर आधारित)